वर्षा राव   (Varsha Rajput)
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Joined 21 February 2020


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Joined 21 February 2020
2 DEC 2023 AT 21:16

गुजरो जब वीरान रास्ते से,
और चहल उसके ख्यालों का हो...
फर्क पड़ेगा क्या
जब वो ही न हो

- Vaर्षा Raव (Varsha Rao)

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4 MAY 2023 AT 9:14

दूर तुमसे खुद की एक कहानी करनी है,
जिस्मों के दौर में बेशक,इश्क तुमसे रूहानी करनी है ।

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11 APR 2023 AT 17:56

खुद में बसा लिया था तुझे ;अब खुद को आबाद कैसे करू,
इश्क की बाते दूर तुझसे ,तेरा तबियत का ख्याल भी कैसे करू?
रूठा हैं मेरा खुदा भी मुझसे अरसे से _२
अब तू ही बता ... ...
मैं तुझसे पहले उसको याद कैसे करूं ।।

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22 DEC 2022 AT 20:27

कभी उस मोड़ पे मिले वो छूटा बचपन;
जिसमे बालपन से अधिक समझ हो,
लड़खड़ाते कदम ,हाथ में सनी मिट्टियां,
चारों ओर किलकारियां और असीमित खुशियां।

पर कभी कभी उस बचपन से दूर न होने का डर;
कभी कभी हवाओं सा तेज़ में भी वो सन्नाटा,
लाज़मी हैं जिंदगी के हर मोड़ पे;
जहां तुम यह सब सोचो।

पर क्या होता होगा उस क्षण;
उसके हृदय से पूछो,
जिसे ,न बचपन की चाह; ना भविष्य की राह
वर्तमान जिसे शून्य लगे,विष जिसे अमृत लगे।

लगने लगे सब अहंकारी;
लगने लगे सब विनाशकारी,
खुद ही खुद जब शत्रु लगो;
उस क्षण खुद को मजबूत करो।

क्षमता होती है क्या ,उसे महसूस करो;
नष्ट की चाहत नहीं, जिन्दगी को स्थिर करो,
उठो,खड़े हों अव्यवस्थित संतुलन को
अपने लक्ष्य पे केंद्रित करो ... ...

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24 SEP 2022 AT 22:52

प्रेम में मैं हमेशा तुम्हें कान्हा के बाद रखूंगी,
स्वाभिमान में तुम्हे हमेशा अपने पिता के बाद रखूंगी,
चाहत नहीं तुम मेरी हां में हां मिलाओ,
बता सको अगर मेरी गलतियां तो अभिमान तुम्हे में सर्व प्रथम रखूंगी।।

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19 SEP 2022 AT 0:39

तेरा ख्याल आजकल मुझे रोने नहीं देते,
अतीत सोचने बैठु अगर;तेरा होने नहीं देते।
मेहताब को देखना मेरी मजबूरी तो नहीं,
पर... ...
कुछ अनकहे सवाल हैं तुझसे,जो हर रात मुझे सुकून से सोने नहीं देते।।

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5 JUL 2022 AT 1:03

क्या लिखूं ,क्या छोड़ूं दूं-२
पंक्तियां लिखूं या पन्ने जोड़ दूं
कुछ लिखूं कुछ इस क़दर छोड़ दूं
मुनासिब हो अगर तो तेरे लिए सांसे भी छोड़ दूं.... ...

Last one but not least happy birthday my special one.

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30 JUN 2022 AT 23:18

कुछ तुम कहो,कुछ मैं कहूं
कुछ रात अधूरी बाकी है।
मुलाकात हमारी बाकी है
थोड़ी सी ही सांस बाकी हैं।।

कुछ तुम सुनो,कुछ मैं सुनूं
कुछ बात अधूरी बाकी है।
अहसास अभी बाकी है
थोड़ा सा ही प्यार की शुरुआत अभी बाकी हैं।।

कुछ मैं लिखूं ,कुछ तुम लिखो
जज्बात अभी बाकी हैं।
पन्नो को सजोकर रखना बाकी है
थोड़ा सा ही इंतजार अभी बाकी है।।

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25 MAY 2022 AT 20:32

डरने लगी हैं वो किसी अंजान को खोने से,
रंग इश्क का थोड़ा गहरा लगता है... ...

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28 APR 2022 AT 9:26

वो आमों की डाली, वो पीपल की छाव लौटा दो,
थक कर हारा सा लग रहा,मुझे मेरा गांव लौटा दो।

बागों में पक्षी की नहीं असमानो में उनकी चहचआहट सुना दो,
सीथिल से हो रहे पाव मेरे, जहां से चलना सीखा वो गांव लौटा दो।

गीत सुनने की चाहत नहीं,मेरी दादी वाली लोरिया सुना दो,
तालाबों की शहर से दूर, गण्ढक नदी की किनारे बसा मेरा गांव लौटा दो।

विविध भाषाओं को सुन लिया अब,मुझे मेरी मातृभाषा सुना दो,
सन्नाटे में कहीं दब गई हैं वास्तविकता मेरी, थोड़ी शोर हैं जहा मुझे मेरा वो गांव लौटा दो।

बहुत सुन लिया औपचारिक चापलूसिया,वो अनौपचारिक माहौल दिला दो,
डांट दे जहां कोई छोटी छोटी गलतियों पे,मुझे मेरा वो गांव दिला दो....

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