उलझने बढ़ती रही मे झेलता रहा....,
वक्त ने मैदान मे उतारा मे खेलता रहा.।
उलझने बढ़ती रही मे झेलता रहा....,
वक्त ने मैदान मे उतारा मे खेलता रहा.।
लोग कहने लगे तू पागल हो जायेगा मे सुनता रहा,
लोगो की बात मन मे दबाए अपने सपने ढूंढता रहा,
लेकिन कैसे बताऊं में लोगो को की,
जब वक्त बदलेगा मेरे विश्वास बदलेगा,
ओर यह पागल एक दिन इतिहास बदलेगा।
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