वह हमेशा शिकायत करती थी
वह बहुत सुंदर थी
मुझे प्यार था उससे
बस मुझे जाताना नहीं आया
वह दूर जा रही थी,
मैंने रुकने की ज़िद नहीं की..
फिर मैं एक तूफान में फस गया
तब नहीं पता था की वह तूफान इतना लम्बा चलेगा,
अगर मैं इससे कभी जीते जी निकल पाया
तो मैं कहीं किसी अनजान शहर में
दूर कहीं अकेला बैठना चाहूंगा।
अपना तकलीफ भरा जीवन
हवाओं में विसर्जित कर देना चाहूंगा।....
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