मैं बस उसमें ठहरती ग्ई सुनता नहीं था वो जरा सा भी मेरी मैं बस उसकी ही सुनती ग्ई बस वो देखता था मुझे मैं सिर्फ उसको ही देखते रह गई वो न जाने कहाँ खोया रहता था मैं पल-पल उसमें ही खोयी रह गई!
मैं बस उसमें ठहरती ग्ई सुनता नहीं था वो जरा सा भी मेरी मैं बस उसकी ही सुनती ग्ई बस वो देखता था मुझे मैं सिर्फ उसको ही देखते रह गई वो न जाने कहाँ खोया रहता था मैं पल-पल उसमें ही खोयी रह गई!