मेरे अच्छे वक़्त में वो साथ है तो क्या फ़लसफ़ा ,,मैं आँसुंओं में चूर हूँ ,, मैं बदशक्ल में मजबूर हूँ ,,फिर वो साथ नहीं फिर उसके अच्छे समय में रहने का क्या फ़लसफ़ा !! -
मेरे अच्छे वक़्त में वो साथ है तो क्या फ़लसफ़ा ,,मैं आँसुंओं में चूर हूँ ,, मैं बदशक्ल में मजबूर हूँ ,,फिर वो साथ नहीं फिर उसके अच्छे समय में रहने का क्या फ़लसफ़ा !!
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कोई ग़रीब मुझे ऐसा मिला नहीं जिसको मैं कुछ दे सकूँ ,,हर कोई मुझसे कहीं न कहीं किसी न किसी वज़ूद में मुझसे अमीर है !!! -
कोई ग़रीब मुझे ऐसा मिला नहीं जिसको मैं कुछ दे सकूँ ,,हर कोई मुझसे कहीं न कहीं किसी न किसी वज़ूद में मुझसे अमीर है !!!
सुबह से शाम हो जाती है किसी के इंतेजार में ,,न वो आती है न ही उसकी कोई ख़बर आती है !! -
सुबह से शाम हो जाती है किसी के इंतेजार में ,,न वो आती है न ही उसकी कोई ख़बर आती है !!
बस उसकी मुस्कराहट ही नहीं भूलती मुझको ,,बाकी सारे उसके दिए हुए ग़म भूल चूका हूँ मैं !! -
बस उसकी मुस्कराहट ही नहीं भूलती मुझको ,,बाकी सारे उसके दिए हुए ग़म भूल चूका हूँ मैं !!
बच्चे रहते है तो दीवारें बिना कलाकारी के कैसे रह सकती है ,,बहुत खुशनसीब होते है वो लोग जिनके घर की दीवारों में कलाकारी होती है !! -
बच्चे रहते है तो दीवारें बिना कलाकारी के कैसे रह सकती है ,,बहुत खुशनसीब होते है वो लोग जिनके घर की दीवारों में कलाकारी होती है !!
मेरा क्या क्या छीन ले गयी है ,,मेरी नींद, मेरे सपने, मेरी खुशियां सब कुछ ज़नाब !! -
मेरा क्या क्या छीन ले गयी है ,,मेरी नींद, मेरे सपने, मेरी खुशियां सब कुछ ज़नाब !!
मैं तो हारा हूँ लेकिन इसमें भी मेरी जीत है ,,कितने सबक और कितनी सीख है इस हार में !! -
मैं तो हारा हूँ लेकिन इसमें भी मेरी जीत है ,,कितने सबक और कितनी सीख है इस हार में !!
उसने अपनी पहली मुहब्बत मुझसे कर के मुझसे एक ही चीज मांगी ,,कि मैंने तुमसे पहली मुहब्बत की है तुम अपनी पहली मुहब्बत भूल जाओ !! -
उसने अपनी पहली मुहब्बत मुझसे कर के मुझसे एक ही चीज मांगी ,,कि मैंने तुमसे पहली मुहब्बत की है तुम अपनी पहली मुहब्बत भूल जाओ !!
वो मेरी मुहब्बत को उड़ान समझता गया ,,मैं उसको ढील देता रहा और वो उड़ता गया !!मैंने उसको हवा से बचाने में थोड़ी डोर खींची ,,वो न मानी, डोर टूटी और वो जमीन पे गिर गया !! -
वो मेरी मुहब्बत को उड़ान समझता गया ,,मैं उसको ढील देता रहा और वो उड़ता गया !!मैंने उसको हवा से बचाने में थोड़ी डोर खींची ,,वो न मानी, डोर टूटी और वो जमीन पे गिर गया !!
मुहब्बत में कभी जागीरें लिखी नहीं जाती ,,जो लिखी जाती है वो मुहब्बत कभी दोहराई नहीं जाती !! -
मुहब्बत में कभी जागीरें लिखी नहीं जाती ,,जो लिखी जाती है वो मुहब्बत कभी दोहराई नहीं जाती !!