चाय की हर धूँट जैसे हौसले की एक उड़ान भर जाती है मन की थकान दूर कर आशा की उम्मीद जगा जाती है ये उम्मीद दुसरो से नही करना बल्कि,☕️☕️☕️☕️☕️ ये उम्मीद की किरण जैसे खुद को ही रौशन कर जाती है
इस मतलबी दुनिया मे ,,,,,,, बेमतलबी होकर जीना चाय सिखाती है, ,,, अपनो मे बन रहे गैरो को भूल,,,,,,, बस रिश्तो मे मिठास जगाना सिखाती है,,,,, ये बताती है भूलो कड़वाहट को,,,,, बसा लो मिठास को जिंदगी मे ये सदा सिखाती है।
मैं, तुम और वो शंका व घुटन का विषय है या फिर चिंतन का. शंका,कारण है भय का, अविश्वास का, ले जाती है पतन की ओर. चिंतन कहता है मोहब्बत के अनेको रूप होते है मत समझ कुछ और.